राजस्थान में सत्ता और संगठन में बदलाव की योजना तैयार, जयपुर से दिल्ली तक बढ़ी सक्रियता

 

असोक गहलोत और सचिन पायलट की फाइल फोटो।

राहुल गांधी और सचिन पायलट के बीच एक सप्ताह में दो बार हुई मुलाकात के बाद राजस्थान सत्ता और संगठन में बदलाव की योजना तैयार कर ली गई। इसके तहत अक्टूबर में राज्य मंत्रिमंडल में फेरबदल के साथ ही संगठन में भी बदलाव की उम्मीद है।

जयपुर। राजस्थान कांग्रेस में पिछले दो साल से चल रहा सियासी संग्राम अब खत्म होने की उम्मीद है। पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट के बीच एक सप्ताह में दो बार हुई मुलाकात के बाद राजस्थान सत्ता और संगठन में बदलाव की योजना तैयार कर ली गई। इसके तहत अक्टूबर में राज्य मंत्रिमंडल में फेरबदल के साथ ही संगठन में भी नीचे से ऊपर तक बदलाव होने की उम्मीद है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत चाहते थे कि मौजूदा मंत्रियों में से किसी को नहीं हटाते हुए मंत्रिमंडल में विस्तार किया जाए, लेकिन आलाकमान ने फेरबदल करने का मानस बनाया है। इसके तहत विभिन्न आरोपों से घिरे मंत्रियों को हटाया जाएगा।

प्रदेश प्रभारी अजय माकन ने राहुल गांधी को जो रिपोर्ट सौंपी है, उसके छह मंत्रियों को हटाने की सिफारिश की गई है। सूत्रों के मुताबिक, इस रिपोर्ट में 21 में से मात्र पांच मंत्रियों के कामकाज पर संतोष जताया गया है। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के कामकाज पर भी माकन ने नाखुशी जताई है। ऐसे में डोटासरा को लेकर भी शीघ्र ही निर्णय किया जा सकता है। बदलाव से पहले चल रही कसरत के बीच वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह एक अक्टृबर को जयपुर में मंत्रियों और विधायकों की बैठक लेंगे।

अजय माकन की रिपोर्ट पर जताई नाराजगी 

राहुल गांधी ने महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा, संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल और प्रदेश प्रभारी अजय माकन के साथ राजस्थान के सत्ता और संगठन को लेकर शनिवार को चर्चा की। इस दौरान अजय माकन की रिपोर्ट पर नाराजगी भी जताई गई। इस दौरान मंत्रियों के आम लोगों के बीच नहीं जाने और कार्यकर्ताओं से दूरी होने, सत्ता व संगठन में तालमेल के लिए बनी समन्वय समिति के सक्रिय नहीं होने, अग्रिम संगठनों की निष्क्रियता, पिछले 18 माह से जिला और ब्लाक कांग्रेस कमेटियों की कार्यकारिणी नहीं होने पर भी चर्चा हुई। दरअसल, पिछले साल सचिन पायलट खेमे की बगावत के समय संगठन की सभी इकाइयां भंग कर दी गई थीं।

जयपुर से दिल्ली तक सक्रियता बढ़ी

सूत्रों के अनुसार, गहलोत मंत्रिमंडल के छह सदस्यों भंवर सिंह भाटी, प्रमोद जैन भाया, राजेंद्र यादव, भजनलाल जाटव, सुखराम विश्नोई और अशोक चांदना को हटाने की बात माकन की रिपोर्ट में कही गई है। जिन पांच मंत्रियों के कामकाज पर संतोष जताया गया, उनमें स्वायत्त शासन मंत्री शांति धारीवाल, चिकित्सा मंत्री डा. रघु शर्मा, उद्योग मंत्री परसादी लाल मीणा, कृषि मंत्री लालचंद कटारिया व महिला व बाल विकास मंत्री ममता भूपेश शामिल है। पायलट की पहले 17 और फिर 24 सितंबर को राहुल गांधी से हुई मुलाकात व माकन की रिपोर्ट के बाद जयपुर से दिल्ली तक सक्रियता बढ़ी है। डा. शर्मा, प्रमोद जैन भाया और राजस्व मंत्री ने दिल्ली में राष्ट्रीय नेताओं से मुलाकात की है। कुछ विधायक शनिवार को जयपुर से दिल्ली के लिए रवाना हुए हैं।