
वो किसान साथियों के साथ यहां पर एक साल से अधिक समय तक धरना देकर प्रदर्शन करते रहे। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जब स्वंय इस बात की घोषणा कर दी कि सरकार तीनों कृषि कानूनों को वापस ले रही है उसके बाद ही किसानों ने अपना आंदोलन वापस लिया।
नई दिल्ली, आनलाइन डेस्क। भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने एक बार फिर केंद्र सरकार पर निशाना साधा है। अपने इंटरनेट मीडिया एकाउंट ट्विटर पर उन्होंने एक पोस्ट की है और लिखा है कि सरकार किस तरह से दोहरा मानदंड अपना रही है। इसके लिए उन्होंने फास्टैग लेन में वाहनों से टोल वसूली और गन्ना किसानों को ब्याज समेत भुगतान न किए जाने का उदाहरण भी दिया है।
गलती से फास्टैग लेन में वाहनों से दोगुना टोल वसूली और 15 दिन बाद गन्ना किसानों का ब्याज समेत भुगतान रद्दी की टोकरी में। सरकार का दोहरा मानदंड प्राइवेट कंपनियों के हाथों खुली लूट नहीं तो और क्या?@NHAI_Official @PMOIndia @ANI @PTI @TOLL_PLAZA pic.twitter.com/tNNFmU0qgd
— Rakesh Tikait (@RakeshTikaitBKU) March 5, 2022
मालूम हो कि केंद्र सरकार के तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ राकेश टिकैत ने यूपी गेट पर मोर्चा संभाल रखा था। वो किसान साथियों के साथ यहां पर एक साल से अधिक समय तक धरना देकर प्रदर्शन करते रहे। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जब गुरूपूर्णिमा के दिन स्वंय इस बात की घोषणा कर दी कि सरकार तीनों कृषि कानूनों को वापस ले रही है उसके बाद ही किसानों ने अपना आंदोलन वापस लिया। इसके लिए भी उन्होंने केंद्र सरकार के प्रतिनिधि से इस बारे में लिखित में समझौता किया।
यूपी गेट पर अपने समर्थकों के साथ धरना दे रहे राकेश टिकैत ने तो बकायदा आंदोलन समाप्त करने के लिए घरवापसी के लिए एक पोस्टर तक जारी किया था। पंजाब, हरियाणा, राजस्थान और यूपी के किसान सरकार से सहमति के बाद ही वापस अपने घरों को लौटे। वैसे किसान आंदोलन की आड़ में दिल्ली में ट्रैक्टर रैली के दौरान जो उपद्रव मचाया गया वो भी किसी से छिपा नहीं रहा था। किसानों के इस कृत्य की पूरी दुनिया में निंदा की गई थी।
इसके बाद उन्होंने एक और ट्वीट किया जिसमें लिखा कि देश की सीमा और खेती की पहरेदारी के अलावा वोट की पहरेदारी के लिए भी तैयार रहें किसान। छलिया नेताओं का कोई भरोसा नहीं।