भीषण कोहरे में फाग डिवाइस के भरोसे ट्रेन चालक, मालगाड़ियां भी बनती रफ्तार में बाधा

 


Train In UP फाग डिवाइस के भरोसे ट्रेन चालक

यूपी में एक जनवरी से शुरु हुए भीषण कोहरे के चलते ट्रेनों की लेटलतीफी सामने आ रही हैं। भीषण कोहरे में ट्रेन चालक फाग ड‍िवाइस के भरोसे हैं। फाग ड‍िवाइस के चलते 500 मीटर पहले सिग्नल की दूरी पता चलती है। कोहरे-सर्दी में लोको पायलट मशक्कत कर रहे हैं।

कानपुर,  संवाददाता। कोहरे के दौरान लोको पायलट केवल फाग सेफ डिवाइस के भरोसे हैं। इससे 500 मीटर पहले उन्हें सिग्नल के खंभे का पता चलता है, लेकिन उसकी स्थिति हरी, लाल या पीली नहीं दिखती। वर्तमान में लगातार बढ़ रही ट्रेनों की लेटलतीफी इसी वजह से है। इसके बावजूद कोहरे व सर्दी में चालक ट्रेनें खींच रहें और देरी के कारण उन्हें घंटों ज्यादा काम भी करना पड़ रहा है।

नार्थ सेंट्रल रेलवे मेंस यूनियन के शाखा सचिव विक्रम सिंह कहते हैं, कवच की सुविधा ट्रेनों को आमने-सामने टकराने से रोकने के लिए है। कोहरे में इससे कोई मदद नहीं मिल रही। आटोमेटिक सिग्नल प्रणाली का दावा भले रेलवे कर रहा पर इंटरनेट से जुड़ा नहीं होने से अभी इसका वो लाभ नहीं मिल रहा । परीक्षण ही चल रहा है। कोहरे के समय मालगाड़ियां निकालने से भी कई बार ट्रेनें फंसती हैं, जिसमें चालकों की नहीं चलती।

संचालन से जुड़े अफसर परिस्थिति के अनुसार गाड़ियां निकालते हैं। लोको पायलट भीषण सर्दी, कोहरे में भी अपनी ड्यूटी करते हुए ट्रेनों को चला रहे। सुरक्षित गंतव्य तक ट्रेन पहुंचाने का काम कर रहे हैं। एक रेलवे अधिकारी के अनुसार, कोहरे में भी ट्रेनों को समयबद्ध ढंग से दौड़ाने के लिए आधुनिक तकनीकों को लाना होगा, जिसे लेकर लगातार परीक्षण किए जा रहे हैं। जल्द ही बदलाव दिखाई पड़ेंगे।