निजी एजेंसी को मिलेगी सरकारी स्कूलों में साइंस लैब की स्थापना सहित मेंटेनेंस की जिम्मेदारी, चयन प्रकिया शुरू

 

झारखंड शिक्षा परियोजना परिषद ने इसे लेकर एजेंसी के चयन की प्रक्रिया शुरू कर दी है।

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राज्य में पहली बार सरकारी स्कूलों में साइंस लैब की स्थापना से लेकर उसके रखरखाव तथा शिक्षकों के इसके लिए आवश्यक प्रशिक्षण की जिम्मेदारी निजी क्षेत्र को दी जाएगी। झारखंड शिक्षा परियोजना परिषद ने इसे लेकर एजेंसी के चयन की प्रक्रिया शुरू कर दी है।

रांची, राज्य ब्यूरोराज्य में पहली बार सरकारी स्कूलों में साइंस लैब की स्थापना से लेकर उसके रखरखाव तथा शिक्षकों के इसके लिए आवश्यक प्रशिक्षण की जिम्मेदारी निजी क्षेत्र को दी जाएगी। झारखंड शिक्षा परियोजना परिषद ने इसे लेकर एजेंसी के चयन की प्रक्रिया शुरू कर दी है। राज्य में स्कूल आफ एक्सीलेंस व आदर्श स्कूलों में विकसित किए जा रहे 405 स्कूलों तथा पूर्व से संचालित 59 माडल स्कूलों में साइंस लैब को लेकर यह नई व्यवस्था अपनाई जाएगी।

तीन साल रखरखाव भी करेगी एजेंसी 

परिषद द्वारा लिए गए निर्णय के अनुसार, चयनित एजेंसी भौतिकी, रसायन विज्ञान तथा जीव विज्ञान की लैब की स्थापना के साथ-साथ उसका तीन साल तक रखरखाव की भी जिम्मेदारी संभालेगी। साथ ही शिक्षकों का प्रशिक्षण भी चयनित एजेंसी द्वारा दिया जाएगा। एजेंसी प्रत्येक स्कूल में एक-एक प्रशिक्षित लैब असिस्टेंट की भी व्यवस्था करेगी जो छात्र-छात्राओं के प्रशिक्षण में आवश्यक सहायता प्रदान करेगा।

चयनित एजेंसी तीन साल तक आन साइट सर्विस सपोर्ट भी देगी। इसके लिए उसके द्वारा राज्य स्तर पर प्राेजेक्ट मानिटरिंग यूनिट की स्थापना की जाएगी। प्रत्येक स्कूल की लैब में 30-30 फर्नीचर की भी व्यवस्था चयनित एजेंसी द्वारा की जाएगी। साइंस लैब की स्थापना से लेकर रखरखाव की जिम्मेदारी उसी एजेंसी को दी जाएगी जिसे इस क्षेत्र में काम करने का अनुभव है।

शिक्षकों का चार दिनों का होगा प्रशिक्षण

लिए गए निर्णय के अनुसार, चयनित एजेंसी साइंस लैब के उपयोग को लेकर प्रत्येक स्कूल के छह शिक्षकों को चार दिनों का प्रशिक्षण देगी। प्रत्येक दिन चार घंटे का प्रशिक्षण होगा। शिक्षकों का यह प्रशिक्षण संबंधित स्कूलों में ही होगा।इन स्कूलों में स्थापित होंगी साइंस लैब

  • स्कूल आफ एक्सीलेंस के रूप में विकसित किए जा रहे 80 स्कूल
  • आदर्श विद्यालय के रूप में विकसित होनेवाले शहरी क्षेत्र के 62 स्कूल
  • आदर्श विद्यालय के रूप में विकसित होनेवाले प्रत्येक प्रखंड के एक-एक कुल 263 स्कूल
  • 59 माडल स्कूल।