मेट्रो की तरह खुलेंगे गतिमान एक्सप्रेस के दरवाजे, दुर्घटनाओं पर लगेगी लगाम

 


Gatimaan Express: मेट्रो की तरह खुलेंगे गतिमान एक्सप्रेस के दरवाजे

Gatimaan Express अक्सर यात्री ट्रेन के गेट पर बैठ जाते हैं जिससे दुर्घटना की आशंका बनी रहती है। पिछले दिनों अभिनेता सोनू सूद के ट्रेन के गेट पर बैठकर यात्रा करने के वीडियो पर विवाद हुआ था। रेलवे प्रशासन द्वारा आपत्ति जताने पर उन्होंने माफी भी मांगी थी।

नई दिल्ली,  संवाददाता। मेट्रो ट्रेन और वंदे भारत एक्सप्रेस की तरह गतिमान एक्सप्रेस में भी स्वचालित दरवाजे होंगे। प्लेटफार्म से ट्रेन के रवाना होने से पहले सभी कोच के दरवाजे अपने आप बंद हो जाएंगे। कोई भी यात्री चलती ट्रेन में चढ़ या उतर नहीं पाएगा।

इस सुविधा से दुर्घटनाओं और अपराधिक घटनाओं पर अंकुश लगेगा। दिल्ली मंडल की योजना की चरणबद्ध तरीके से सभी शताब्दी एक्सप्रेस में स्वचालित दरवाजे लगाने की है। सबसे पहले कालका शताब्दी में स्वचालित दरवाजे लगाए गए थे। शुरू में एक कोच में लगाकर इसका परीक्षण किया गया।

इसके सफल रहने पर पिछले वर्ष कालका शताब्दी के सभी कोच में स्वचालित दरवाजे लगाए गए। पिछले वर्ष नवंबर में चंडीगढ़ शताब्दी में भी यह सुविधा उपलब्ध हो गई है। अब गतिमान एक्सप्रेस की बारी है।

सुरक्षा के लिए है जरूरी

यात्रियों की सुरक्षा के लिए यह व्यवस्था की जा रही है। कोई भी यात्री कोच के दरवाजे पर बैठकर यात्रा नहीं कर सकेगा। अक्सर यात्री ट्रेन के गेट पर बैठ जाते हैं, जिससे दुर्घटना की आशंका बनी रहती है। पिछले दिनों अभिनेता सोनू सूद के ट्रेन के गेट पर बैठकर यात्रा करने के वीडियो पर विवाद हुआ था। रेलवे प्रशासन द्वारा आपत्ति जताने पर उन्होंने माफी भी मांगी थी।

सिर्फ प्लेटफार्म की ओर खुलेंगे दरवाजे

कोच के स्वचालित दरवाजे सिर्फ प्लेटफार्म की तरफ खुलेंगे। दूसरी तरफ के दरवाजे बंद रहेंगे, जिससे कोई अन्य व्यक्ति ट्रेन में प्रवेश नहीं कर सकेगा। धीमी गति होने पर अपराधिक तत्वों के ट्रेन में चढ़कर चोरी व अन्य अपराध करने के मामले रोकने में भी मदद मिलेगी। यात्रियों को सचेत करने के लिए इंटरकाम के माध्यम से बार-बार घोषणा की जाएगी।

गतिमान ट्रेन से संबंधित जानकारी

  • गतिमान एक्सप्रेस का परिचालन पांच अप्रैल 2016 से शुरू हुआ।
  • तत्कालीन रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने हजरत निजामुद्दीन रेलवे स्टेशन से इसे रवाना किया था।
  • शुरू में यह हजरत निजामुद्दीन से आगरा के बीच चलती थी। एक अप्रैल, 2018 से इसका विस्तार झांसी तक कर दिया गया।
  • अधिकतम गति- 160 किमीप्रति घंटा l   औसत गति- 112 किमी प्रति घंटा।
  • दिल्ली से झांसी पहुंचने में लगने वाला समय-265 मिनट l   दिल्ली से आगरा पहुंचने लगने वाला समय-100 मिनट।